श्रद्धा!!आँधी आए या तूफान::श्रद्धा-भक्ति से डिगे नहीं:केदारनाथ में भक्तों का सैलाब:कुदरती कहर के बावजूद टूट गया साल-2024 का रिकॉर्ड:नया Record:16.56 लाख से ज्यादा ने किए दर्शन:सुरक्षित यात्रा के लिए इंतजाम पुख्ता
CM Directions To DMs,`तीर्थ यात्रियों की सुरक्षा-सुविधा को सर्वोच्च प्राथमिकता दें'

Chetan Gurung
आँधी-तूफान और जानलेवा कुदरती कहर-सैलाब भी भक्तों को न डिगा पाए और न ही उनको बाबा केदारनाथ के दर्शन के लिए थाम पाए। सरकार की ताजा तरीन Report के मुताबिक इस साल अब तक 16.56 लाख से अधिक श्रद्धालु बाबा के दर्शन को पहुंचे और पिछले रेकॉर्ड को तोड़ के नया Record बना डाला। सरकार के पुख्ता सुरक्षा इंतजाम ने इसमें अहम भूमिका निभाई। CM पुष्कर सिंह धामी ने सभी यात्रा संबन्धित जिलों के DMs को सख्त हिदायत दी है कि वे तीर्थ यात्रियों की सुरक्षा और अधिक से अधिक सुविधा पर Focus रखें।
दैवीय आपदाओं ने इस बार अपने चरम को छुआ और तमाम इंसानी जिंदगियाँ लील ली। सैकड़ों करोड़ का नुकसान अलग किया। बारिश और आपदाओं के न रुकने के बावजूद श्रद्धालुओं का भक्ति कारवां बिना रुके यात्रा फिर शुरू होते ही बाबा केदार के दर्शन को उमड़ने लगा है। चार धाम यात्रा फिर रफ्तार पकड़ चुकी है।
बारिश और बर्फबारी के बावजूद यात्रियों में भारी उत्साह नजर आ रहा है। केदारनाथ यात्रा ने नया रिकॉर्ड बना दिया है। बुधवार को श्रद्धालुओं की संख्या 16 लाख 52 हजार के पार पहुंच गई। अभी धाम कपाट बंद होने में 14 दिन का समय बचा है। वर्ष 2024 में पूरे यात्रा काल में 16 लाख 52 हजार 76 यात्री केदार दर्शन के लिए पहुंचे थे।
आज भी केदारनाथ धाम में 5614 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए। धाम के कपाट 23 अक्टूबर को भैया दूज पर बंद होंगे। अभी यात्रा 15 दिन और चलनी है। बद्रीनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री धाम में भी यात्रियों की संख्या बढ़ी है। यात्रा मार्ग को सुचारु रखने के लिए भूस्खलन की दृष्टि से संवेदनशील स्थानों पर मलबे की सफाई के लिए JCB की व्यवस्था की गई है।
इस वर्ष 30 अप्रैल को गंगोत्री एवं यमुनोत्री धाम के कपाट खुलने के साथ चार धाम यात्रा का आगाज हो गया था। 2 मई को केदारनाथ और 4 मई को बद्रीनाथ धाम के कपाट आम श्रद्धालुओं के दर्शनार्थ खोल दिए गए थे। Monsoon के दौरान भारी वर्षा,बादल फटने और भूस्खलन से 4 धाम यात्रा बुरी तरह प्रभावित भी हुई है।
प्रकृति की विनाशलीला में गंगोत्री धाम का महत्वपूर्ण पड़ाव धराली बुरी तरह तबाह हो गया। मार्ग बुरी तरह तहस-नहस हो जाने से गंगोत्री और यमुनोत्री धाम की यात्रा को रोकना पड़ा था। प्रशासन की ओर से यात्रियों को अभी भी एहतियात बरतने की सलाह दी गई है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने 4 धाम यात्रा से जुड़े सभी जिलाधिकारियों को ताकीद की है कि श्रद्धालुओं और स्थानीय नागरिकों की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता दें।
उन्होंने कहा कि सभी यात्रा मार्गों पर आवश्यक यात्री सुविधाओं और सुरक्षा से जुड़ी सभी व्यवस्थाओं का पूरा ध्यान रखा जाए। सभी जिम्मेदार अधिकारियों को अलर्ट मोड पर रखा जाए। आपातकालीन स्थिति में बिना किसी देरी के राहत और बचाव कार्य शुरू कर दिया जाए।